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Monday, 3 December 2018

दस्तक अभियान का द्वितीय चरण 17 दिसम्बर से कलेक्टर श्री गढ़पाले ने की अभियान की समीक्षा

दस्तक अभियान का द्वितीय चरण 17 दिसम्बर से
कलेक्टर श्री गढ़पाले ने की अभियान की समीक्षा

खण्डवा 3 दिसम्बर , 2018 - दस्तक अभियान के द्वितीय चरण 17 दिसम्बर 2018 से 31 जनवरी 2019 तक चलाया जायेगा जिसके तहत् सोमवार को कलेक्टर श्री विशेष गढपाले की अध्यक्षता में कलेक्टर कार्यालय के सभाकक्ष में बैठक में सम्पन्न हुई। बैठक में स्वास्थ्य व अन्य विभागों के अधिकारी तथा जिले के कार्यक्रम अधिकारी, सभी खण्ड चिकित्सा अधिकारी, बी.पी.एम., बी.ई.ई., बी.सी.एम. उपस्थित थे। कलेक्टर श्री गढ़पाले ने निर्देश दिये कि अभियान में दी जाने वाली दवाईयां समय पर ग्राम स्तर तक पहुंचायी जाये, ताकि दस्तक अभियान की गतिविधियां मैदानी स्तर पर की जा सकें। आगामी माह में आयोजित होने वाले मिजल्स रूबेला अभियान में जिला शिक्षा अधिकारी और जिला समन्वयक सर्व शिक्षा अभियान से सामंजस बनाकर प्राईवेट स्कूलों के प्रभारियों की बैठक लेकर अभियान की जानकारी देकर कार्ययोजना बनाकर कार्य करें। साथ ही वैक्सीन का पोटोकाल अनुसार कोल्ड चैन मेंटेन हो यह भी सुनिश्चित किया जावें।   
बैठक में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डाॅ. रतन खंडेलवाल ने बताया कि इस अभियान में जन्म से 5 वर्ष तक बच्चों को घर-घर जाकर का आशा, आंगनवाड़ी और स्वास्थ्य कार्यकर्ता स्वास्थ्य सेवायें दी जायेगी। पांच वर्ष से कम उम्र के गंभीर कुपोषित बच्चों की सक्रिय रूप से पहचान एवं प्रबंधन करना, छः माह से पांच वर्ष तक के बच्चों में गंभीर एनिमिया की सक्रिय स्क्रीनिंग एवं प्रबंधन करना, नौ माह से पांच पांच वर्ष के समस्त बच्चों का विटाामीन ए अनुपूरण करना, पांच वर्ष तक के बच्चों में बाल्यकालीन निमोनिया की त्वरित पहचान एवं रेफरल करना, पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चें में बाल्यकालीन दस्त रोग के नियंत्रण हेतु ओ.आर.एस. के उपयोग संबंधी सामुदायिक जागरूकता में बढ़ावा एवं प्रत्येक घर में गृहभेंट के दौरान ओ.आर.एस. पहुॅंचाना, गृहभेंट के दौरान आंशिक रूप से टीकाकृत एवं छूटे हुये बच्चों की जानकारी लेना, शिशु एवं बाल आहारपूर्ति संबंधी समझाइश समुदाय को देना एवं स्तनपान संबंधी भ्रांतियों में कमी हेतु सामुदायिक जागरूकता लाना, कम वज़न के नवजात शिशुओं की उचित देखभाल हेतु समुदाय में कंगारू मदर केयर पद्धति संबंधी जागरूकता, एस.एन.सी.यू. एवं एन.आर.सी. से छुट्टी प्राप्त बच्चों में बीमारी की स्क्रीनिंग एवं फाॅलो-अप को प्रोत्साहन, बच्चों में दिखाई देने वाली जन्मजात विकृतियों की पहचान, समुदाय में अभियान के दौरान बीमार बच्चों का मूलभूत प्रबंधन, जन्म से 5 वर्षीय बच्चों का विगत 6 माह में हुई मृत्यु की टेªकिंग करना है। बैठक में सिविल सर्जन डाॅ. ओ.पी. जुगतावत, डी.एच.ओ. डाॅ. एन.के. सेठिया, डाॅ. शक्तिसिंह राठौर, डी.पी.एम. डाॅ. शिवराजसिंह चैहान , सहायक संचालक सुभाष सोलंकी महिला बाल विकास, जिला टीकाकरण अधिकारी डाॅ. अनिल तंतवार सहित विभिन्न अधिकारी मौजूद थे। 

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