खेतों से जल की निकासी की व्यवस्था तुरंत करें किसान
गेहूँ की फसल में मेनकोजेब एवं चना की फसल में प्रोपेकोनेझाल का करें झिड़काव
खंडवा (24 जनवरी, 2014) - जिले में पिछले दो दिन में तेज हवा के साथ बारिष हुई है। कहीं-कहीं चने के आकार के ओले भी गिरे है। जिससे गेंहूँ की फसल आड़ी पड़ गई है। उपसंचालक किसान कल्याण तथा कृषि विकास अधिकारी ने बताया है कि वर्तमान स्थिति में जिन खेतों में जल भराव की स्थिति हो तो वहाँ जल निकासी व्यवस्था तुरंत करें। गेंहू में झुलसा रोग (ब्लाइट) पत्ती धब्बा रोग (अल्टरनेरिया) रोग आने की संभावना है। इसके उपचार हेतु मेनकोजेब 2.5 से 3 ग्राम या लीटर पानी के मान से छिड़काव करंे। चने की फसल में आद्रगलन (रूटरॉट) रोग के आने की संभावना हो सकती है। इसकेे नियंत्रण हेतु प्रोपेकोनेझाल या हेक्झाकोनेझाल का 1 मि.ली. या लीटर पानी के मान से छिड़काव करें। बाद की बोनी के गेंहूँ में यूरिया की टापड्रेसिंग कर सकते हैं। अधिक जानकारी के लिये जिले के किसान भाई कृषि कल्याण विभाग के स्थानीय अधिकारियों और मैदानी कार्यकर्ताओ से भी संपर्क कर सकते हैं।
क्रमांक: 145/2014/145/वर्मा
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