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Tuesday 22 September 2015

मछुआरों के बच्चों की शिक्षा और विवाह के लिये दो नई योजनाएँ

मछुआरों के बच्चों की शिक्षा और विवाह के लिये दो नई योजनाएँ

 खण्डवा 22 सितम्बर,2015 - मत्स्य-विकास और मछुआ कल्याण विभाग ने मछुआरों के बच्चों को उच्च शिक्षा और कन्याओं के विवाह के लिये दो नई योजना लागू करवाने की घोषणा की है। मत्स्य महासंघ के जलाशयों में कार्यरत मछुआरों के बच्चों को उच्च शिक्षा में अध्ययन के लिये छात्रवृत्ति देने के लिये निषादराज छात्रवृत्ति योजना शुरू की जा रही है। इसी तरह मछुआरों की कन्याओं के विवाह एवं गृहस्थी बसाने के लिये मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना की तरह 15 हजार रुपये की आर्थिक सहायता दी जायेगी। इस योजना का नाम मुख्यमंत्री मीनाक्षी विवाह योजना रहेगा। 
इसके अलावा गंभीर बीमारी अनुदान योजना में अभी प्रत्येक प्रकरण में अधिकतम राशि 20 हजार दी जाती थी, जो इलाज के लिये कम पड़ती है। इस बात को ध्यान में रखकर राज्य सरकार ने मछुआरों को गंभीर बीमारी एवं प्रत्यारोपण आदि के प्रकरणों में अनुदान राशि को बढ़ाकर 40 हजार रुपये करने का निर्णय सरकार ने लिया है। बंद ऋतु के दौरान मछुआरों को आजीविका के लिये भुगतान की जाने वाली अंशदान राशि में भी वृद्धि की घोषणा भी की गई हैं। आजीविका सहयोग योजना में पहले 2 रुपये प्रति किलो का अंशदान मछुआरों से लेकर इसमें 2 रुपये प्रति किलो का अंशदान महासंघ की ओर से मिलाकर कुल राशि 4 रुपये प्रति किलो की दर से मछुआरों को दिया जाता था। अब 3 रुपये प्रति किलो का अंशदान मछुआरों से लेकर तथा इतनी ही राशि महासंघ की ओर से मिलाकर 6 रुपये प्रति किलो की दर से उन्हें राशि भुगतान की जायेगी। 

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