सफलता की कहानी’’मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना’’ का लाभ पाकर संतोष बना आत्मनिर्भर
खण्डवा 17 जून, 2021 - खण्डवा जिले के ओंकारेश्वर के संतोष कर्मा ने बताया कि मेरा परंपरागत कार्य लकड़ी फर्नीचर तैयार करना था। मुझे कारपेंटर का कार्य विरासत में मिला किन्तु वर्तमान दौर में लकड़ी फर्नीचर एवं भवन निर्माण में कारपेंटरी की उपयोगिता कम हो गई है। इसी परंपरागत कार्य के समानांतर मैंने वेल्डिंग का कार्य भी प्रारंभ किया किन्तु परिवार के भरण पोषण में आर्थिक परेषानियों का सामना करना पड़ता था। निराषा के दौर में मुझे जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द खण्डवा से मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना की जानकारी से विस्तृत रूप से अवगत कराया। इस योजना से मुझे आषा की किरण दिखाई दी। चूँकि मेरी शैक्षणिक योग्यता केवल दसवीं उत्तीर्ण होने के कारण शासकीय सेवा के अवसर थे तथा पारंपरिक रोजगार का भी संरक्षण आवष्यक प्रतीत हो रहा था। मैंने गंभीरता से विचार कर अपने ही गाँव में स्वयं का रोजगार करने की योजना बनाई। इस संबंध में जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र के मार्ग दर्षन पश्चात ऑनलाईन आवेदन किया। मेरे आवेदन को टास्कफोर्स कमेटी की अनुषंसा पर बैंक ऑफ इंडिया ओंकारेष्वर भेजा गया। बैंक ने भी मुझे पूरा सहयोग दिया और किराना दुकान के लिए 03 लाख रूपए का ऋण स्वीकृत किया गया। इस राषि पर शासन के नियमानुसार अनुदान राषि रूपए 90 हजार का भुगतान भी प्राप्त हुआ है।
मध्यप्रदेष शासन की इस योजना से मुझे पर्याप्त आय हो रही है। बैंक की मासिक किष्त का नियमित भुगतान करने के बाद मुझे मेरे परिवार के भरण पोषण में आर्थिक परेषानी का समाना नहीं करना पड़ा है। इस कार्य में मेरे अन्य व्यवसायों की व्यस्तताओं के कारण मेरी पत्नी जो कि गृहणी है उनके द्वारा भी किराना दुकान में हाथ बंटाया जाता है।

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