हमारे कोरोना योद्धाघर में रहकर भी बच्चों से रहना पड़ रहा है दूर
खण्डवा 1 मई, 2020 - कोरोना महामारी ने पूरी दुनिया को मुसीबत में डाल दिया है इस बीमारी से बचने के लिए सभी अपने अपने घरों में सुरक्षित रहना चाहते हैं। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी घर से बाहर निकलकर लोगों का उपचार कर रहे है। स्वास्थ्य कार्यकर्ता कन्टेन्मेंट क्षेत्र में जाकर कोरोना संक्रमित लोगों की पहचान के लिए गर्मी में गली गली घूमकर सर्वे कर रहे है। स्वास्थ्य विभाग की ए.एन.एम. श्रीमती सारिका पटेल जो कि खण्डवा शहर में पदस्थ है, उनके द्वारा शहर के कन्टेन्मेंट क्षेत्रों में जाकर वहां रहने वाले परिवारों के स्वास्थ्य की जानकारी ली जा रही है तथा जुकाम व बुखार के लक्षण मिलने पर ऐसे मरीजों को जिला चिकित्सालय में उपचार के लिए प्रेरित किया जा रहा है।
सारिका ने बताया कि ड्यूटी के दौरान वह पीपीई किट व सेनिटाइजर जैसे साधनों से कोरोना संक्रमण से वह अपना बचाव तो करती ही है, लेकिन फिर भी ड्यूटी करके जब सारिका घर आती है तो बच्चे मॉं से लिपटना चाहते है, लेकिन कोरोना संक्रमण के डर से उन्हें समझाना पड़ता है कि दूर रहकर ही बात करें। श्रीमती पटेल की एक बेटी योगिता 9 वर्ष की व बेटा ओजस 5 वर्ष का है। दोनों ही न कोरोना समझते है और न संक्रमण वह सिर्फ इतना जानते है कि मम्मी ने अभी दूर रहने के लिए कहा है, इसलिए चाहकर भी अपनी मॉं के पास नही आते है और दूर से ही बात कर अपनी भावनाएं व्यक्त करते है।
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